इस दिवाली सोना, चांदी और ऑटोमोबाइल मार्केट भरेगा फर्राटा

0
सिरोही। शादी  हो या तीज त्यौहार, दशहरा, होली और दीवाली की तो बात ही क्या। त्यौहारों का धूम-धडाका भले ही खत्म हो जाता हो मगर इनका धमाल सालभर जारी रहता है। दीपावली आगमन के पहले ही बाजारों में रोनक हो जाती है, बाजार सजने लगते है। दीपावली में खरीदारी में विशेष सोने-चांदी की खरीददारी हो या रेडीमेड कपडों की, फैशनेबल साडियां, आर्टिफिशियल ज्वैलरी, सूट, शेरवानी, जूतियां, बच्चों के कपडे और मिठाईयां बाजारों में सजी है। एक से बढक़र एक वेरायटी के साथ मार्केट में दीपावली की धूम मची है। तो वहीं ऑटोमोबाइल्स के क्षेत्र में टू व्हीलर वाहनों के संचालकों ने मार्केट में कई नई वैरायटी व कलरफुल बाइके उतारी है। हालांकि कुछ समय से रियल स्टेट के क्षेत्र कमी आई।  इसके अलावा भी बहुत कुछ जो आप चाहते है वो सिरोही सिटी, शिवगंज, जावाल, आबूरोड में आसानी से दुकान उपलब्ध कर सकते है। इधर जालोर, पाली, सुमेरपुर के बाजारों में भी दुकानें सजी है। खरीदारी के मामले में आज भी शिवगंज अपना नाम रखता है।  पिछले कुछ सालों से शिवगंज मिनी मुबंई के रुप में मशहूर होकर कपड़ों व ज्वैलरी के लिए राजस्थान के अन्य जिलो में ही नहीं बल्कि राज्य के पडौसी प्रांतों में भी व्यापारियों और ज्वैलरी के अलावा दवाई, कटलेरी, साग सब्जी, फल, मिठाईयां, जूते का  रिटेल व होलसेल व्यापार बहुत बड़े पैमाने पर कर रहा है। वहीं पिछले कुछ वर्षों से ग्रेनाइट पत्थर, मार्बल, आईलमिल्स, लकडी का कारोबार भी पिछले सालों में काफी फलाफूला है। बाइक बाजार में दीवाली ऑफर्स की बरसात दरअसल, दिवाली में अब कुछ दिन ही शेष रह गए हैं। 7 नवम्बर को दीवाली  पर्व मनाया जाएगा,  इससे ठीक दो दिन पहले  धनतेरस है। ऐसे में सिरोही शहर में टू व्हीलर का बाजार सज गया है। इस शुभ दिन अर्थात धनतेरस को बाइक, स्कूटी आदि खरीद कर घर लाने के लिए लोग बुकिंग करानी शुरू कर दी है। ऑटोमोबाइल शोरूम में देखे तो अमर टी.वी.एस. व धनलक्ष्मी होण्डा सिरोही सहित अन्य ऑटोमोबाइल शोरुम मालिकों ने शो रुम को खूबसूरत तरीके से सजाया है। ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए कारोबारियों ने तमाम तरह के ऑफर दे रखें है। वाहन कंपनियों को उम्मीद है कि इस बार बाजार अच्छा रहने वाला है। मिट्टी से बने गुल्लक व दीये की बढ़ी बिक्री      दीवाली बाजार में सजे पारंपरिक खिलौनों में भारतीय जीवन की झलक नजर आ रही है। बाजारों में सजी दुकानें भारतीय संस्कृति का अहसास करा रही हैं। फुटपाथ पर बिकने वाले मिट्टी के ये दीये और खिलौने आज भी पुराने दिन याद दिला रहे हैं। लेकिन बहुत सी ऐसी चीजें हैं जो अब मिट्टी के खिलौने में ही सिमट कर रह गई हैं। हालांकि वे अब भी  जिंदगी का हिस्सा जरूर हैं। गुल्लक, चक्की, सिलबट्टा, चूल्हा फूंकने वाली फुंकनी, चौघड़ा, खल मूसल जैसी चीजों शहरी जिंदगी से गायब हो गयी हैं। उनकी जगह स्टैंडर्ड मिक्सी व ग्राइंडर जैसी चीजें बाजार में आ गई हैं। फ्लैट और घरों में ये सब चीजें अब नहीं दिखाई देती। ज्वैलरी बाजार में रोनक सोने चांदी के आभूषणों पर कलात्मक नक्काशी में सिरोही ने एक अलग पहचान बनाई हुई है। विभिन्न गांवों व शहरों में स्थित मंदिरों में देवी-देवताओं की मूर्तियों को सजाने के लिए सोने चांदी के आभूषणों पर की जाने वाली नक्काशी ने हर किसी का मन मोह लिया है। कारीगर अपने प्रतिष्ठानों पर मूर्तियों के अलावा मुकुट, सिंहासन, आरती, तोरण, दीपक, घंटी, छत्तर, पूजा थाली सेट, नाग, शिवलिंग, कलश, गिलास, गाय, शेर आदि ग्राहकों की पहली पसंद बनी हुई है। इसके साथ ही गुजरात राज्य से भी ग्राहक इन मूर्तियों व आभूषणों को खरीदने आते है। दीवाली के साथ शादियों की सीजन आना शुरु हो जाती है। ऐसे में लोग सोने-चांदी के आभूषण दीपावली त्यौहार में ही खरीदते है। इन दिनों ज्वैलरी बाजार देखे तो ग्राहकों की भीड़ दिखाई देगी।  मिठाई बाजार में कई वैरायटियां  दीपावली आने के चार दिन पहले ही बाजारों में मिठाईयों की दुकाने सजने लगी। शिवगंज में जगदीश मिष्ठान भण्डार में मावे, काजू व अंजीर की कई मिठाईयों की वैराटिया तैयार की गई है। जगदीश मिष्ठान की मिठाईयां शिवगंज ही नहीं अपितु जालोर, पाली सहित गुजरात में भी प्रसिद्ध है। इसी तरह सिरोही मेें न्यू विनायक स्वीट  हॉम, गायत्री स्वीट हॉम, बीकानेर स्वीट हॉम व सुंधा स्वीट हॉम ने भी मिठाईयों की कई वैरायटियां इस बार बाजार में उतारी है। दीपावली में जब एक दूसरे से रामा श्यामा करते है तो पहले मुंह मिठा करवाया जाता है। मिठाई सबसे पहले इसके चलते इन दिनों बाजारों में मिठाई मार्केट की धूम मची हुई है। शहर सहित आसपास के दूर-दराज गांवों के लोग भी सिरोही पहुंच इन दुकानों से अपनी मनपसन्द मिठाई खरीद रहे है।

सिरोही। शादी हो या तीज त्यौहार, दशहरा, होली और दीवाली की तो बात ही क्या। त्यौहारों का धूम-धडाका भले ही खत्म हो जाता हो मगर इनका धमाल सालभर जारी रहता है। दीपावली आगमन के पहले ही बाजारों में रोनक हो जाती है, बाजार सजने लगते है। दीपावली में खरीदारी में विशेष सोने-चांदी की खरीददारी हो या रेडीमेड कपडों की, फैशनेबल साडियां, आर्टिफिशियल ज्वैलरी, सूट, शेरवानी, जूतियां, बच्चों के कपडे और मिठाईयां बाजारों में सजी है। एक से बढक़र एक वेरायटी के साथ मार्केट में दीपावली की धूम मची है। तो वहीं ऑटोमोबाइल्स के क्षेत्र में टू व्हीलर वाहनों के संचालकों ने मार्केट में कई नई वैरायटी व कलरफुल बाइके उतारी है। हालांकि कुछ समय से रियल स्टेट के क्षेत्र कमी आई। इसके अलावा भी बहुत कुछ जो आप चाहते है वो सिरोही सिटी, शिवगंज, जावाल, आबूरोड में आसानी से दुकान उपलब्ध कर सकते है। इधर जालोर, पाली, सुमेरपुर के बाजारों में भी दुकानें सजी है। खरीदारी के मामले में आज भी शिवगंज अपना नाम रखता है।
पिछले कुछ सालों से शिवगंज मिनी मुबंई के रुप में मशहूर होकर कपड़ों व ज्वैलरी के लिए राजस्थान के अन्य जिलो में ही नहीं बल्कि राज्य के पडौसी प्रांतों में भी व्यापारियों और ज्वैलरी के अलावा दवाई, कटलेरी, साग सब्जी, फल, मिठाईयां, जूते का रिटेल व होलसेल व्यापार बहुत बड़े पैमाने पर कर रहा है। वहीं पिछले कुछ वर्षों से ग्रेनाइट पत्थर, मार्बल, आईलमिल्स, लकडी का कारोबार भी पिछले सालों में काफी फलाफूला है।
बाइक बाजार में दीवाली ऑफर्स की बरसात


दरअसल, दिवाली में अब कुछ दिन ही शेष रह गए हैं। 7 नवम्बर को दीवाली पर्व मनाया जाएगा, इससे ठीक दो दिन पहले धनतेरस है। ऐसे में सिरोही शहर में टू व्हीलर का बाजार सज गया है। इस शुभ दिन अर्थात धनतेरस को बाइक, स्कूटी आदि खरीद कर घर लाने के लिए लोग बुकिंग करानी शुरू कर दी है। ऑटोमोबाइल शोरूम में देखे तो अमर टी.वी.एस. व धनलक्ष्मी होण्डा सिरोही सहित अन्य ऑटोमोबाइल शोरुम मालिकों ने शो रुम को खूबसूरत तरीके से सजाया है। ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए कारोबारियों ने तमाम तरह के ऑफर दे रखें है। वाहन कंपनियों को उम्मीद है कि इस बार बाजार अच्छा रहने वाला है।
मिट्टी से बने गुल्लक व दीये की बढ़ी बिक्री
दीवाली बाजार में सजे पारंपरिक खिलौनों में भारतीय जीवन की झलक नजर आ रही है। बाजारों में सजी दुकानें भारतीय संस्कृति का अहसास करा रही हैं। फुटपाथ पर बिकने वाले मिट्टी के ये दीये और खिलौने आज भी पुराने दिन याद दिला रहे हैं। लेकिन बहुत सी ऐसी चीजें हैं जो अब मिट्टी के खिलौने में ही सिमट कर रह गई हैं। हालांकि वे अब भी जिंदगी का हिस्सा जरूर हैं। गुल्लक, चक्की, सिलबट्टा, चूल्हा फूंकने वाली फुंकनी, चौघड़ा, खल मूसल जैसी चीजों शहरी जिंदगी से गायब हो गयी हैं। उनकी जगह स्टैंडर्ड मिक्सी व ग्राइंडर जैसी चीजें बाजार में आ गई हैं। फ्लैट और घरों में ये सब चीजें अब नहीं दिखाई देती।
ज्वैलरी बाजार में रोनक
सोने चांदी के आभूषणों पर कलात्मक नक्काशी में सिरोही ने एक अलग पहचान बनाई हुई है। विभिन्न गांवों व शहरों में स्थित मंदिरों में देवी-देवताओं की मूर्तियों को सजाने के लिए सोने चांदी के आभूषणों पर की जाने वाली नक्काशी ने हर किसी का मन मोह लिया है। कारीगर अपने प्रतिष्ठानों पर मूर्तियों के अलावा मुकुट, सिंहासन, आरती, तोरण, दीपक, घंटी, छत्तर, पूजा थाली सेट, नाग, शिवलिंग, कलश, गिलास, गाय, शेर आदि ग्राहकों की पहली पसंद बनी हुई है। इसके साथ ही गुजरात राज्य से भी ग्राहक इन मूर्तियों व आभूषणों को खरीदने आते है। दीवाली के साथ शादियों की सीजन आना शुरु हो जाती है। ऐसे में लोग सोने-चांदी के आभूषण दीपावली त्यौहार में ही खरीदते है। इन दिनों ज्वैलरी बाजार देखे तो ग्राहकों की भीड़ दिखाई देगी।
मिठाई बाजार में कई वैरायटियां
दीपावली आने के चार दिन पहले ही बाजारों में मिठाईयों की दुकाने सजने लगी। शिवगंज में जगदीश मिष्ठान भण्डार में मावे, काजू व अंजीर की कई मिठाईयों की वैराटिया तैयार की गई है। जगदीश मिष्ठान की मिठाईयां शिवगंज ही नहीं अपितु जालोर, पाली सहित गुजरात में भी प्रसिद्ध है। इसी तरह सिरोही मेें न्यू विनायक स्वीट हॉम, गायत्री स्वीट हॉम, बीकानेर स्वीट हॉम व सुंधा स्वीट हॉम ने भी मिठाईयों की कई वैरायटियां इस बार बाजार में उतारी है। दीपावली में जब एक दूसरे से रामा श्यामा करते है तो पहले मुंह मिठा करवाया जाता है। मिठाई सबसे पहले इसके चलते इन दिनों बाजारों में मिठाई मार्केट की धूम मची हुई है। शहर सहित आसपास के दूर-दराज गांवों के लोग भी सिरोही पहुंच इन दुकानों से अपनी मनपसन्द मिठाई खरीद रहे है।

Leave a Reply

Verified by MonsterInsights